क्या मैं जान सकता हूँ जन्म कुंडली में मेरा जीवन साथी मिल सकता है?

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4 min readDec 21, 2024

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वैदिक ज्योतिष में जन्म कुंडली को हमारे जीवन का दर्पण माना जाता है। इसमें जीवन के हर पहलू के बारे में जानकारी प्राप्त की जा सकती है, जिसमें आपका जीवन साथी भी शामिल है। सवाल यह है कि क्या आपकी जन्म कुंडली में जीवनसाथी से संबंधित जानकारी प्राप्त की जा सकती है? जवाब है — हां। जन्म कुंडली में ग्रहों और भावों की स्थिति आपके जीवन साथी की प्रकृति, संबंधों की स्थिरता, और वैवाहिक जीवन की गुणवत्ता के बारे में बता सकती है। आइए, ज्योतिषीय दृष्टिकोण से इस विषय को विस्तार से समझते हैं।

जन्म कुंडली में जीवन साथी का संकेत

जन्म कुंडली में सातवां भाव (सप्तम भाव) विवाह और जीवन साथी का प्रतिनिधित्व करता है। यह भाव आपके साथी के स्वभाव, उनके साथ आपके संबंध, और वैवाहिक जीवन के सुख–दुख का संकेत देता है।

सप्तम भाव और उसका महत्व

· सप्तम भाव यह दर्शाता है कि आपका जीवन साथी कैसा होगा — उनका व्यक्तित्व, स्वभाव, और विचारधारा।

· यदि सप्तम भाव में शुभ ग्रह (जैसे गुरु, शुक्र, या चंद्रमा) हों, तो वैवाहिक जीवन सुखद होता है।

· अशुभ ग्रह (जैसे शनि, राहु, या मंगल) सप्तम भाव में हों, तो रिश्तों में चुनौतियां हो सकती हैं।

सप्तमेश (सातवें भाव का स्वामी)

सप्तम भाव का स्वामी ग्रह भी जीवन साथी के बारे में जानकारी प्रदान करता है।

· यदि सप्तमेश उच्च राशि में हो, तो जीवन साथी का स्वभाव अच्छा और व्यक्तित्व प्रभावशाली होगा।

· सप्तमेश यदि नीच राशि में हो या अशुभ ग्रहों से प्रभावित हो, तो वैवाहिक जीवन में समस्याएं आ सकती हैं।

ग्रहों की भूमिका

शुक्र

शुक्र प्रेम, आकर्षण और वैवाहिक सुख का कारक ग्रह है।

· यदि शुक्र मजबूत और शुभ स्थिति में हो, तो जीवन साथी के साथ रिश्ते मधुर होंगे।

· कमजोर शुक्र वैवाहिक जीवन में असंतोष या देरी का कारण बन सकता है।

गुरु

गुरु का सीधा संबंध वैवाहिक जीवन की स्थिरता से है।

· गुरु की शुभ दृष्टि वैवाहिक जीवन में खुशहाली लाती है।

· गुरु कमजोर हो तो वैवाहिक जीवन में मतभेद हो सकते हैं।

शनि और राहु

शनि और राहु सप्तम भाव में हों, तो जीवन साथी के साथ कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है।

· शनि धैर्य और स्थिरता लाता है, लेकिन इसकी अशुभ स्थिति रिश्तों में दूरी पैदा कर सकती है।

· राहु रिश्तों में भ्रम और असमंजस का संकेत देता है।

जीवन साथी का स्वरूप और प्रकृति

जन्म कुंडली के विभिन्न भाव और ग्रह यह भी बताते हैं कि आपका जीवन साथी कैसा होगा।

1. राशि: सप्तम भाव की राशि जीवन साथी के स्वभाव का संकेत देती है।

o मेष राशि: साहसी और ऊर्जावान।

o वृषभ राशि: स्थिर और व्यावहारिक।

o मिथुन राशि: जिज्ञासु और संवादप्रिय।

2. नवमांश कुंडली:

o नवमांश कुंडली का विश्लेषण करके जीवन साथी की गहराई से जानकारी प्राप्त की जा सकती है।

o सप्तम भाव और नवमांश कुंडली के संयोजन से जीवन साथी की आर्थिक स्थिति, शिक्षा, और परिवार के बारे में भी जानकारी मिलती है।

जन्म कुंडली में विवाह की देरी के कारण

कई बार जन्म कुंडली में ग्रहों की अशुभ स्थिति के कारण विवाह में देरी हो सकती है।

· मंगल दोष: यदि मंगल छठे, आठवें या बारहवें भाव में हो, तो विवाह में देरी हो सकती है।

· राहु और केतु का प्रभाव: सप्तम भाव में राहु–केतु हो तो रिश्तों में भ्रम की स्थिति बनती है।

· शनि का प्रभाव: शनि विवाह में देरी का कारक ग्रह है। इसकी अशुभ स्थिति विवाह को टाल सकती है।

ज्योतिषीय उपाय

यदि जन्म कुंडली में वैवाहिक जीवन से जुड़ी समस्याएं हों, तो ज्योतिषीय उपाय किए जा सकते हैं।

1. मंगल दोष शांति:

o मंगल दोष से छुटकारा पाने के लिए “हनुमान चालीसा” का पाठ करें।

o मंगलवार को मसूर की दाल का दान करें।

2. शनि के लिए उपाय:

o शनिवार को पीपल के पेड़ पर सरसों का तेल चढ़ाएं।

o “ॐ शं शनैश्चराय नमः” का जाप करें।

3. राहु–केतु के लिए उपाय:

o राहु और केतु शांति यज्ञ करवाएं।

o काले तिल और नारियल का दान करें।

4. शुक्र को मजबूत करने के लिए:

o शुक्रवार को देवी लक्ष्मी की पूजा करें।

o सफेद वस्त्र और सुगंधित चीजों का दान करें।

निष्कर्ष

कुंडली के माध्यम से जीवन साथी के बारे में न केवल जानकारी प्राप्त की जा सकती है, बल्कि वैवाहिक जीवन को सुखमय बनाने के उपाय भी किए जा सकते हैं। ज्योतिषीय विश्लेषण यह तय करने में मदद करता है कि विवाह का सही समय कब है और जीवन साथी के साथ कैसे तालमेल बिठाया जाए।

यदि आप भी अपने जीवन साथी और वैवाहिक जीवन से संबंधित सवालों के जवाब पाना चाहते हैं, तो किसी योग्य ज्योतिषी से परामर्श करें। यह न केवल आपके सवालों का समाधान करेगा, बल्कि आपको अपने जीवन में स्थिरता और संतोष प्राप्त करने में भी मदद करेगा।

किसी भी विशिष्ट मुद्दे के लिए, मेरे कार्यालय @ +91 9999113366 से संपर्क करें। भगवान आपको एक खुशहाल वैवाहिक आनंद प्रदान करें।

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Written by Delaymarriage

From Dr. Vinay Bajrangi “Astrological services for business issues, health prediction, career selection, property astrology, married life issues, IVF Baby, etc.

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